मोहम्मद असलम शेर
उमरिया ।ओबीसी महासभा के राष्ट्रीय कोर कमेटी के निर्णय एवं प्रदेश अध्यक्ष के निर्देशानुसार 07/08/2021 दिन शनिवार को प्रदेश के प्रत्येक जिला मुख्यालय में कलेक्टर को ज्ञापन सौंपने का कार्यक्रम किया गया था जिसमें विभिन्न मांगे रखी गईं
1.जनगणना 2021 में ओबीसी की जातिवार जनगणना कराने
2. मध्य प्रदेश में होने वाली सभी सरकारी पदों में OBC को घोषित 2011की जनगणना के अनुसार 52%आरक्षण दिए जाने !
3.तत्कालिन समय में होने वाली शिक्षक भर्ती में 27% आरक्षण लागू करने !
4. विश्वविद्यालयों मे ओबीसी के असिस्टेन्ट बैकलाग पदों पर तुरंत भर्ती किये जाने !
5. न्यायालयों में जनसंख्या के आधार पर ओबीसी न्यायाधीशों की नियुक्ति की अनुशंसा किये जाने सहित अन्य मांगो को लेकर ज्ञापन सौंपा गया,इस अवसर पर
ओबीसी महासभा के प्रदेश कार्यकारणी सदस्य प्रदीप सिंह कुशवाहा जिला अध्यक्ष बालकदास पटेल ने बताया कि 2011की जनगणना अनुसार देश में ओबीसी वर्ग की जनसंख्या 65% है,जबकि मध्यप्रदेश में 52% है, इस औसत में सरकारो द्वारा उसका हक आजादी के 74 वर्ष बाद भी नहीं दिया गया,1991 मंडल कमीशन के द्वारा अनुसंशित 27%आरक्षण लागू भी पूर्णतया लागू नही किया गया जोकि ओबीसी वर्ग के लोगों के संवैधानिक अधिकारों की उपेक्षा है,अगर जल्द ही सरकार ओबीसी वर्ग के अधिकारों को नहीं प्रदान करेगी तो ओबीसी महासभा पूरे देश प्रदेश में व्यापक जन आंदोलन करेगी,
इस ज्ञापन कार्यक्रम में ओबीसी महासभा के जिलाध्यक्ष बालकदास पटेल ओबीसी यूनाइटेड फ्रंट ऑफ इंडिया के जिलाध्यक्ष एडवोकेट मुनीम पटेल, मो.असलम शेर, अनुज सेन, ओबीसी वर्ग के प्रमुख नेता सुशील जायसवाल, मुकेश पटेल, दुर्गेश कुशवाहा, बुध्दगणेश कुशवाहा, मनोज कुमार पटेल, रामप्रकाश पटेल, सुरेश पटेल, विनीत जयसवाल, सतीश पटेल, पवन कुशवाहा, शिवप्रसाद कुशवाहा, अजय कुशवाहा,अतुल पटेल, लक्ष्मीकांत पटेल, धर्मेंद्र पटेल, रामविनोद पटेल (पत्रकार) राजा कुशवाहा, एडवोकेट प्रदीप रजक, एडवोकेट मुकेश वर्मा, रवि जायसवाल घनश्याम पटेल, कृष्ण कुमार पटेल, रामबल पटेल आदि सैकड़ों संख्या में ओबीसी वर्ग के लोगों की उपस्थिति रही।
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