रिपोर्ट @जयप्रकाश नामदेव
शहडोल। जिले के अंतर्गत आने जनपद पंचायत जयसिंहनगर के ग्राम पंचायत कतिरा के खैरवार टोला में आजादी के इतने सालों के बाद भी पक्की सड़क का अभाव है। सड़क नहीं होने के कारण आज भी ग्रामीणों को आवागमन में काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है लेकिन जिम्मेदार अपनी जिम्मेदारी से आज भी पीछे भाग रहे है बरसात के दिनों में यह समस्या और विकराल रूप धारण कर लेती है। कच्चे रास्तों पर कीचड़ और गड्ढों के कारण ग्रामीणों को आवागमन में काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। स्कूल जाने वाले बच्चों से लेकर खेतों और बाजारों की ओर जाने वाले किसानों तक सभी इस समस्या से प्रभावित हैं।
*समय में नहीं मिल पाता उपचार*
ग्रामीणों ने बताया कि सड़क न होने से सबसे अधिक दिक्कत आपातकालीन स्थितियों में होती है। अचानक किसी की तबीयत बिगड़ने या प्रसव पीड़ा होने पर मरीज को अस्पताल तक पहुँचाना मुश्किल हो जाता है। कई बार देर से इलाज मिलने के कारण गंभीर परिणाम भी सामने आ जाते हैं। वहीं, बच्चे भी स्कूल समय पर नहीं पहुँच पाते और पढ़ाई प्रभावित होती है। साथ ही विद्यालय पहुंचने से पहले ही बच्चे पूरी तरह से कीचड़ में गंदे हो जाते हैं गाँव की महिलाएँ रोजमर्रा की जरूरत का सामान लेने के लिए बाजार तक जाने में भी भारी असुविधा महसूस करती हैं।
ग्रामीणों ने बताया कि वे कई बार जनप्रतिनिधियों और प्रशासन से पक्की सड़क निर्माण की माँग कर चुके हैं, लेकिन अब तक कोई ठोस पहल नहीं की गई है।
*क्या अपनी जिम्मेदारी निभाएंगे जनप्रतिनिधि*
ग्रामीणों की इस गंभीर समस्या को देखते हुए अब प्रशासन और जनप्रतिनिधियों की भूमिका अहम हो जाती है। यदि शीघ्र ही सड़क निर्माण की दिशा में ठोस कदम नहीं उठाए गए, तो ग्रामीण विकास की गति प्रभावित होती रहेगी और गाँव मुख्यधारा से कटे रहेंगे
*वन विभाग के आपत्ति के कारण नहीं हो पा सड़क निर्माण*
प्राप्त जानकारी के अनुसार ग्राम पंचायत कतिरा के खैरवार टोला में सड़क निर्माण के कार्य में सबसे बड़ी बाधक वन विभाग बन रही है क्योंकि यह सड़क वन विभाग के बीचो-बीच गुजरती है यदि जिम्मेदार अपनी भूमिका निभाते हुए वन विभाग से आपसी सामंजस स्थापित करके इस सड़क निर्माण के कार्य को पूरा करवाया जा सकता है जिससे ग्रामीणों को इस समस्या से निजात मिल सकता है
0 Comments